Description
दक्षिणा मूर्ति स्तोत्र आदि शंकराचार्य कृत
दक्षिणा मूर्ति स्तोत्र मुख्य रूप से गुरु की वंदना है। श्रीदक्षिणा मूर्ति परमात्मस्वरूप शंकर जी हैं जो ऋषि मुनियों को उपदेश देने के लिए कैलाश पर्वत पर दक्षिणाभिमुख होकर विराजमान हैं। वहीं से चलती हुई वेदांत ज्ञान की परम्परा आज तक चली आ रही हे व्यास, शुक्र, गौड़पाद, शंकर, सुरेश्वर आदि परम पूजनीय गुरुगण उसी परम्परा की कड़ी हैं। उनकी वंदना में यह स्त्रोत समर्पित है।
Dakshina Murti Stotra Adi Shankara
Dakshina Murti Stotra is mainly the Guru’s Vandana. Shridakshina Murthy is the divine form of Shankara who is seated on Mount Kailash to teach sages and sages. The tradition of Vedanta knowledge going on from there continues till today. Vyas, Venus, Gaudapada, Shankar, Sureshwar, etc. The most revered gurus are the link of that tradition. This source is dedicated in his prayer.
Reviews
There are no reviews yet.